Description
मलयज सक्षम कवि और कुशाग्र आलोचक थे। उन्होंने औपचारिक आलोचना के अलावा अपनी डायरियों में बहुत मूल्यवान् चिन्तन दर्ज किया है। प्रेमलता वर्मा, जो प्रसिद्ध कवयित्री – कथाकार – अनुवादक हैं, को लिखे गये मलयज के पत्र मूल्यवान् साहित्य सामग्री हैं। वे उनके पारिवारिक जीवन और उसमें उन जैसे लेखक का उलझाव और भूमिका अन्तरंग ढंग से व्यक्त करते हैं। दूसरे, उनमें समय, समाज, सचाई, आत्म, सृजन, आलोचना आदि से लेकर, कई लेखकों और रचनाओं पर बहुत कुशाग्र टिप्पणियाँ हैं। तीसरे, इन पत्रों में मलयज के समय का एक आत्मीय और चुपचाप किया गया वस्तुनिष्ठ लेखा-जोखा भी है।
About the Author:
प्रेमलता वर्मा कवयित्री, कहानीकार, संस्मरण एवं डायरी लेखिका, समीक्षक, अनुवादिका, दुभाषिया और प्रोफ़ेसर । बोयनोस आइरेस (अर्जेण्टीना) में राष्ट्रीय विश्वविद्यालय से इंका राज्य का सामाजिक- धार्मिक-आर्थिक ढाँचा शीर्षक से शोध प्रबन्ध पर सर्वोच्च स्थान एवं भाषाशास्त्र का अध्ययन अर्जेण्टीना में सबसे पहले प्रेमलता जी ने ही हिन्दी के शिक्षण और प्रचार की शुरुआत की। बोयनोस के राष्ट्रीय विश्वविद्यालय में तुलनात्मक माइथोलोजी तथा हिन्दी की शिक्षा और माइमोनिदेश नाम के विश्वविद्यालय में भारतीय साहित्य एवं हिन्दी का शिक्षण । अनेक विश्वविद्यालयों में सेमिनार, कक्षाएँ एवं व्याख्यान सहित कविता पाठ ।
Author: PREMLATA VERMA
Publisher: Setu Prakashan
ISBN-13: 9789395160438
Language: HINDI
Binding: PAPER BACK
Product Edition: 2023
No. Of Pages: 534
Country of Origin: INDIA
International Shipping: Yes
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